MP Election 2023: कांग्रेस छोड़ भाजपा का दामन थमने वाली जिला पंचायत अध्यक्ष लीलाबाई अटारिया और उनके पति भेरूलाल अटारिया के कांग्रेस से बीजेपी में जाते ही सुर बदल गए हैं. 29 जुलाई 2022 को लीलाबाई ने जिला पंचायत अध्यक्ष बनते ही कहा था कि चुनाव लड़ने के दौरान भाजपा ने हमें पार्टी में आने के लिए बहुत परेशान किया. हमारी पार्टी में आ जाओ 10 करोड़ देंगे. पुलिस में पदस्थ पति, पटवारी बेटे और पुलिसकर्मी बेटे को सुविधाएं भी देंगे. उनको नौकरी में परेशान किया गया.
ADVERTISEMENT
लेकिन 14 जुलाई शुक्रवार को उन्होंने पति के साथ भोपाल में अचानक CM के सामने भाजपा ज्वॉइन कर ली थी और फिर 15 जुलाई 2023 यानी शनिवार को देवास में मीडिया से बातचीत में कहा कि मुझे सिखाया गया था इसलिए भाजपा पर आरोप लगाए थे. इतना ही नहीं प्रेस कॉन्फ्रेंस में उनके पति भेरूलाल अटारिया ने पूर्व मंत्री सज्जन सिंह वर्मा पर पार्टी फंड में 50 लाख रुपये लेने के आरोप लगाने के साथ ही कहा था कि हमें सोनकच्छ क्षेत्र में जाने नहीं दिया जाता था, मेरे बेटे को जान से मार देने की धमकी भी सज्जन सिंह वर्मा ने दी थी.
दिग्विजय सिंह को अपशब्द कहने का ऑडियो वायरल
इस पूरे एपिसोड ने रविवार सुबह एक बार फिर तूल पकड़ लिया जब सोशल मीडिया पर पूर्व मंत्री सज्जन सिंह वर्मा का भेरूलाल अटारिया और उनके बेटे के साथ एक ऑडियो वायरल हुआ. जिसमें सज्जन सिंह वर्मा खुद को ईमानदार बताते हुए कह रहे है कि क्षेत्र में भ्रम मत फैलाओ. इस दौरान वह भेरूलाल के बेटे को जान से मारने की धमकी देने के साथ ही पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह को अपशब्द भी कह रहे हैं. इस ऑडियो के वायरल होने के बाद बीजेपी ने कांग्रेस पर हमला बोला है. एमपी बीजेपी ने इस ऑडियो को ट्वीट करते हुए कहा- ‘कांग्रेसियों में आपसी कलह इतना कि एक दूसरे को सरेआम दे रहे हैं गाली.’
इस पूरे मामले में रविवार यानि 16 जुलाई को देवास पहुंचे सज्जन सिंह वर्मा ने तमाम आरोपों को नकारते हुए यह स्वीकारा कि वायरल ऑडियो मेरा ही है. उन्होंने सफाई देते हुए कहा कि- वायरल ऑडियो में मेरी ही आवाज़, लेकिन थोड़ी पुरानी बात. पूर्व CM दिग्विजय सिंह को लेकर अपशब्दों पर बोले- अटारिया परिवार मेरे क्षेत्र में जाकर बार-बार लोगों को यह कह रहा था कि सोनकच्छ से हमारे टिकट को लेकर दिग्विजय सिंह जी से हमारी बात फाइनल हो गई है. मुझे भी यह बात कही गई. मैंने समझाया भी. सोनकच्छ में अटारिया परिवार की लार टपक रही थी, इसलिए ये शब्द कहे कि मेरे खिलाफ कई आए कई चले गए, लेकिन ये पुरानी घटना हो गई. साथ ही कहा- दिग्विजय सिंह मेरे नेता है.
डंके की चोट पर कहता हूं- दिग्विजय सिंह मेरे नेता हैं: सज्जन वर्मा
सज्जन वर्मा ने कहा- ‘ये पुरानी घटनाएं हैं. राग द्वेष राजनीति में चलता रहता है. स्थायी दुश्मनी नहीं होती. डंके की चोट बोलता हूं दिग्विजय सिंह मेरे नेता है. जिन सीटों पर दिग्विजय सिंह जी घूमकर आए है. अगस्त के पहले पखवाड़े में हम उन्हीं सीटों पर सबसे पहले उम्मीदवार घोषित करेंगे. अटारिया एपिसोड पर वह बोले कि वह खुद कह रहे हैं कि हम चुनाव लड़ेंगे. उनकी महत्वकांक्षाएं हैं. विधानसभा, लोकसभा सब लड़ लेना.’
‘मेरा एक ऑडियो भी वायरल हो रहा है. उसमें स्पष्ट परिलक्षित हो रहा है कि मैंने भेरूलाल अटारिया को फोन लगाकर कहा कि देख बेटा मैं फोन लगाता नहीं हूं, लेकिन मेरे सिर के ऊपर से पानी निकल गया. तेरा बेटा ( देवेन्द्र पटवारी) क्षेत्र में जाकर चुनाव की बातें कर रहा है. आरोप लगा रहा है कि हमारे पैसे कांग्रेस जिला अध्यक्ष अशोक कप्तान के पास पड़े हैं.’
सोनकच्छ सीट शिवराज सिंह चौहान के टारगेट में है: सज्जन सिंह वर्मा
‘मैंने भेरू को समझाया कि मैंने जीवन मे कोई भ्रष्टाचार नहीं किया. मैंने कोई पैसे नहीं लिए. देख बेटा मैं इतने बड़े-बड़े पदों पर रह मैं मेरा घर नहीं बना पाया. मैंने हमेशा पवित्र राजनीति की. ये स्क्रिप्ट इसलिए लिखकर दी शिवराज सिंह चौहान ने, क्योंकि उनके टारगेट पर है सोनकच्छ विधानसभा. दीपक जोशी के भाजपा छोड़ने के बाद शिवराज को एक तोड़ चाहिए था, तो सबसे साफ्ट टारगेट भैरुलाल अटारी थे, सब इंस्पेक्टर रहे हैं और उनकी पत्नी जिन्हें भाजपा की सरकार ने मकान नहीं दी, कोई सुविधा नहीं दी, ये स्क्रिप्ट उस समय लिख गई थी, कि कैसे तोड़ना है. कलेक्टर, जिला पंंचायत सीईओ हों, सबने माहौल बनाया है.’
ADVERTISEMENT