Sagar Accident: 15 घंटे के अंंदर रीवा और सागर में दो बड़े हादसे, 13 बच्चों की मौत से दहला MP, परिजनों ने लगाए गंभीर आरोप

हिमांशु शिवा

04 Aug 2024 (अपडेटेड: Aug 4 2024 1:11 PM)

Sagar Accident:  मध्य प्रदेश में 15 घंटे के अंदर दो ऐसे बड़े हादसे हुए, जिसमें 13 बच्चों की मौत हो गई. पहले, शनिवार को शाम रीवा में एक दीवार ढहने से 4 बच्चों की दबने से मौत हो गई.

अस्पताल में घायलों का हाल जानने पहुंचे कलेक्टर

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न्यूज़ हाइलाइट्स

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मध्य प्रदेश में 15 घंटे के अंदर दो ऐसे बड़े हादसे हुए, जिसमें 13 बच्चों की मौत हो गई.

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एक साथ दो बड़े हादसों से पूरा मध्य प्रदेश हिल गया है. 

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इस हादसे के बाद परिजनों ने प्रशासनिक लापरवाही के भी गंभीर आरोप लगाए हैं.

Sagar Accident:  मध्य प्रदेश में 15 घंटे के अंदर दो ऐसे बड़े हादसे हुए, जिसमें 13 बच्चों की मौत हो गई. पहले, शनिवार को शाम रीवा में एक दीवार ढहने से 4 बच्चों की दबने से मौत हो गई. वहीं, आज सागर में उससे भी बड़ा और दहला देने वाला हादसा हुआ. जब शिवलिंग बना रहे बच्चे दीवार ढहने से दब गए और जब तक कि राहत बचाव पहुंचता 9 बच्चे दम तोड़ चुके थे. एक साथ दो बड़े हादसों से पूरा मध्य प्रदेश हिल गया है. 

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सीएम मोहन यादव ने खुद इस हादसे की जानकारी ली है और बच्चों के हताहत होने पर दुख जताया है. सागर हादसे में 4 बच्चे घायल हैं, उनकी भी हालत गंभीर बताई जा रही है.सागर हादसे के बाद पूरा प्रशासन मौके पर मौजूद है. तो वहीं सीएम मोहन यादव ने जान गंवाने वाले बच्चों के परिजन को 4-4 लाख रुपए की आर्थिक सहायता देने का ऐलान किया है. 

शिवलिंग निर्माण के दौरान हुआ हादसा

बताया जा रहा है कि शाहपुर के हरदौल मंदिर में शिवलिंग निर्माण और भागवत कथा का आयोजन किया जा रहा है. जहां सुबह करीब 10 बजे पार्थिव शिवलिंग निर्माण कार्यक्रम चल रहा था. रविवार की छुट्टी होने के चलते  शिवलिंग बनाने के लिए बच्चे भी पहुंचे थे. जिस जगह बच्चे बैठकर शिवलिंग बना रहे थे, मंदिर परिसर के बाजू वाली दीवार भरभराकर गिर गई. जिसमे कुछ बच्चे दब गए.

जेसीबी से मलबा हटाकर शव और घायल बच्चों को बाहर निकाला गया. दीवार करीब 50 साल पुरानी बताई जा रही है. जो लगातार हो रही बारिश के कारण ढह गई. इस हादसे की जानकारी लगने पर रहली विधानसभा से विधायक और पूर्व मंत्री गोपाल भार्गव भी शाहपुर पहुंचे. साथ ही  मौके पर प्रशासनिक और पुलिस अधिकारी पहुंचे हैं. सभी मृत बच्चो के शव को सागर जिला अस्पताल लाया गया है. जिनका पोस्टमार्टम किया जा रहा है. तो वहीं घायलों का इलाज जारी है. 

परिजनों का आरोप

हादसे के बाद घायलों को आनन-फानन में अस्पताल लाया गया. लेकिन, वहां डॉक्टर मौजूद नहीं थे. केवल एक कर्मचारी मौजूद था. घायलों के परिजनों का आरोप है कि अस्पताल जाने पर उन्हें मूलभूत सुविधाएं भी नहीं मिल पाई हैं. यहां कोई पटटी बांधने वाला तक नहीं है. स्थानीय लोगों की माने तो मौके पर डॉक्टर ही मौजूद ही नही था. न ही कभी डॉक्टर यहां मौजूद रहता है. कई बच्चों की मौत इलाज के अभाव के कारण हुई है. ग्रामीणों की प्रशासन से मांग है कि ऐसे डॉक्टरों और अधिकारियों पर कार्रवाई की जाए.

सागर हादसे में इन मासूमों की मौत

  • ध्रुव यादव पुत्र जगदीश यादव
  • नीतेश पटेल पुत्र कमलेश पटेल
  • आशुतोष प्रजापति पुत्र मानसिंह प्रजापति
  • प्रिंस साहू पुत्र अशोक साहू
  • पर्व विश्वकर्मा पुत्र कृष्णकुमार विश्वकर्मा
  • दिव्यांश साहू पुत्र नीलेश साहू
  • देवराज साहू पुत्र गोविंद साहू
  • वंस उर्फ मयंक लोधी पुत्र यशवंत लोधी
  • हेमंत पिता भूरे

घायल सुमित प्रजापति और खुशी पटवा का तिली अस्पताल सागर में इलाज जारी है

 

सागर से पहले रीवा में गई थी मासूमों की जान

रीवा जिले के गढ़ थाना क्षेत्र में नई गढ़ी मोड़ पर संचालित निजी सनराइज पब्लिक स्कूल के छात्र  छुट्टी होने के बाद वापस लौट रहे थे. उसी दौरान अचानक छात्रों पर दीवार ढह गई. इसमें अभिभावक समेत 6 दब गए. आनन फानन में स्थानीय लोगो ने दबे हुए लोगो को निकल कर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र ले गए. जहा चिकित्सको ने चार स्कूली बच्चों को मृत घोषित कर दिया. जबकि एक छात्रा और छात्रा की मां गंभीर रूप से घायल हो गई. घायलों को प्राथमिक उपचार दे कर संजय गांधी स्मृति चिकित्सालय में भर्ती कराया गया है. रीवा में दीवार ढहने की वजह से निजी स्कूल में पढ़ने वाले चार बच्चों की मौत हो गई. इस हादसे को लेकर सीएम मोहन यादव और डिप्टी सीएम राजेंद्र शुक्ल ने दुख जताया है और पूरी घटना की जांंच कराने की बात कही है.

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