मध्य प्रदेश में लाेकसभा चुनाव के लिए क्या BJP के फार्मूले पर चलेगी कांग्रेस? जानिए

रवीशपाल सिंह

25 Jan 2024 (अपडेटेड: Jan 25 2024 9:11 AM)

Madhya Pradesh Lok Sabha 2024: मध्य प्रदेश में विधानसभा चुनावों में मिली करारी हार के बाद अब कांग्रेस जीतू पटवारी की लीडरशिप में नई ऊर्जा और दमखम के साथ लोकसभा चुनाव 2024 उतरने की तैयारी कर रही है. इसके लिए कांग्रेस आगामी लोकसभा चुनाव के ज़रिये वापसी की तैयारियों में जुट गई है.

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Madhya Pradesh Lok Sabha 2024: मध्य प्रदेश में विधानसभा चुनावों में मिली करारी हार के बाद अब कांग्रेस जीतू पटवारी की लीडरशिप में नई ऊर्जा और दमखम के साथ लोकसभा चुनाव 2024 उतरने की तैयारी कर रही है. इसके लिए कांग्रेस आगामी लोकसभा चुनाव के ज़रिये वापसी की तैयारियों में जुट गई है. सूत्र बताते हैं कि कांग्रेस अपनी कट्टर विरोधी पार्टी बीजेपी के उस फॉर्मूले को भी अपना सकती है, जिसके तहत बीजेपी ने वरिष्ठ नेताओं को चुनाव लड़वाने का दांव चला था.

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कांग्रेस सूत्रों के मुताबिक, मध्य प्रदेश के कांग्रेस प्रभारी भंवर जितेंद्र सिंह ने हाल ही में जिला कांग्रेस अध्यक्षों और प्रभारियों की बैठक ली थी. इसमें कांग्रेस के सीनियर नेताओं को लोकसभा चुनाव लड़ाने और विधानसभा में हार चुके कुछ नेताओं को लोकसभा का टिकट देने पर चर्चा हुई है. इसके मुताबिक कमलनाथ, दिग्विजय सिंह, कांतिलाल भूरिया जैसे सीनियर लीडर्स के अलावा तरुण भनोट, कमलेश्वर पटेल, हीना कांवरे जैसे विधानसभा चुनाव हार चुके नेताओं को भी लोकसभा चुनाव लड़ाने की चर्चा हुई है.

इन नेताओं पर दांव खेल सकती है कांग्रेस

कांग्रेस का मानना है की सीनियर लीडर्स जिस सीट से लड़ेंगे वहां कार्यकर्ता एकजुट होगा और बीजेपी को कड़ी टक्कर दी जा सकेगी. अगर ऐसा होता है तो कमलनाथ को उनके गढ़ छिंदवाड़ा, दिग्विजय सिंह को भोपाल या राजगढ़, कांतिलाल भूरिया को रतलाम, तरुण भनोट को जबलपुर, हीना कांवरे को बालाघाट से लोकसभा चुनाव लड़ाया जा सकता है.

हिट रहा था बीजेपी का फार्मूला

बता दें कि हाल ही में संपन्न हुए विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने दिग्गज नेताओं को टिकट देते हुए सात लोकसभा सांसदों को विधानसभा चुनाव लड़ाया था जिनमे से तीन तो केंद्रीय मंत्री थे. सात में से पांच सांसद विधानसभा चुनाव जीत भी गए.

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ग्वालियर चंबल को वापस लाने की कोशिश

लोकसभा चुनाव से पहले कांग्रेस ने अपने अभियान का फोकस केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया के गढ़ ग्वालियर-चंबल पर करना शुरू कर दिया है. पार्टी ने संगठन की मजबूती के लिए तमाम बड़े नेताओं ने अपनी रणनीति पर अमल शुरू कर दिया है. इसी के तहत कांग्रेस के बड़े नेताओं ने नौ जनवरी से 12 जनवरी तक ग्वालियर-चंबल के दौरा किया है. इसमें खुद प्रदेश अध्यक्ष जीतू पटवारी भी शामिल रहे.

इस दौरे की शुरुआत दतिया से हुई, जिसमें भिण्ड, मुरैना, श्योपुर, शिवपुरी, गुना और अशोकनगर जिले के दौरे पर रहकर सभी जिलों में कांग्रेस कार्यकर्ताओं के साथ संगठनात्मक बैठकें की गईं, साथ ही लोकसभा चुनाव की तैयारियों और रणनीति पर स्थानीय स्तर पर वरिष्ठ कांग्रेस पदाधिकारियों, कार्यकर्ताओं से गहन मंथन हुआ है.

ग्वालियर-चंबल पर बीजेपी को मिली थी जीत

बता दें कि विधानसभा चुनाव में ग्वालियर-चंबल अंचल की 34 विधानसभा सीटों में से भाजपा ने 19 और कांग्रेस ने 15 सीटों पर जीत दर्ज की थी. वहीं लोकसभा की चारों सीटों पर भाजपा का कब्जा है.

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